अपने इन दमदार डायलॉग्स से संजू बाबा हर किरदार में छा गए , फिर चाहे वो नायक हो या खलनायक

90 के दशक के सुपरस्टार संजय दत्त : 

संजय दत्त का जन्म 29 जुलाई 1959 में मुंबई में हुआ था। इन्होंने फ़िल्मी दुनिया में 1981 में फ़िल्म ‘रॉकी’ से कदम रखा था। तब से लेकर आज तक बाबा हमें एंटरटेन कर रहे हैं। 90 के दशक में तो संजू बाबा ही छाए थे और आज भी संजू बाबा ही छाए हैं। ‘वास्तव’ फ़िल्म का उनका ‘असली है असली, पचास तोला, पचास तोला, कितना, पचास तोला’ वाला डायलॉग तो आपको याद होगा ही, आज हम आपको संजू बाबा के ऐसे ही 5 डायलॉग बताएँगे, जो बहुत फेमस हुई थे ।

संजू बाबा, बाबा या संजय दत्त पुकारो कुछ भी लेकिन इंसान एक ही है। उनके चलने की स्टाइल हो या बोलने की, दोनों हाथों से बंदूक चलाने की स्टाइल हो या अधूरी गाली देनी की स्टाइल , सब कमाल हैं। कितने लोग हैं जो संजय दत्त की मिमिक्री करके अपना घर चला रहे हैं। संजय दत्त के डायलॉग बोलने के तरीक़े से ही लोग उनके फ़ैन हो जाते हैं।

संजय दत्त के फेमस डायलॉग 

वर्कफ़्रंट की बात करें तो, हाल ही में संजय दत्त की फ़िल्म ‘शमेशरा’ आई है, जिसमें रणबीर कपूर और वाणी कपूर हैं। इसके अलावा, अपकमिंग प्रोजेक्ट में ‘द गुड महाराजा’ और ‘लाल सिंह चड्ढा’ आने वाली हैं।

 

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